झाबुआ 26 सितम्बर, 2024। सोयाबीन की 90 प्रतिशत फलियों का रंग पिला पडने पर फसल की कटाई करें, इससे बीज के अंकुरण में विपरीत नहीं होता, सलाह है कि उचित समय पर फसल की कटाई करे जिससे फलियो के चटकने से होने वाले नुकसान या फलियों के अंकुरित होने से बीज की गुणवत्ता में आने वाली कमी से बचा जा सके।
सोयाबीन की कटी हुई फसल को धूप में सुखाने के पश्चात गहाई करें, तुरंत गहाई करना संभाव नही होने की स्थिति में बारिश से बचाने हेतु फसल को सुरक्षित स्थान पर इकट्ठा करें, अगामी वर्ष बीज के रुप में उपयोगी सोयाबीन की फसल की गहाई 350 से 400 आर.पी.एम. पर करें जिससे बीज की गुणवत्ता पर विपरीत प्रभाव नही पड़े।
भण्डार गृह ठंडा, हवादार कीट व नमी रहित होना चाहिये, यदि संभाव हो भण्डारण गृह में लकडी के प्लेटफॉर्म बनाकर सोयाबीन के बोरो को खडा रखे। यदि बोरियो की थप्पी लगाकर भण्डारण करना हो यह ध्यान रखे कि 3-4 बोरियो से अधिक या 5 फिट की उँचाई तक ही थप्पीया लगाये जिससे सोयाबीन की अंकुरण प्रभावित न हो,भण्डारण करते समय सोयाबीन के बोरो को प्लेटफॉर्म पर सावधानिपूर्वक रखे एवं ऊंचाई से नही पटके, भण्डार गृह की दिवार में नमी आने पर सोयाबीन बीज फफूंद रोगो के संक्रमण से बचाने हेतु यह भी ध्यान रखे कि बोरे दिवार से सीधे संपर्क में ना हो।