झाबुआ

चांदपूर बैरियर पर राजेश दलाल की एंट्री के नाम पर मनमानी और अवैध उगाही के कारण वाहन चालकों की परेशानी……?

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अलिराजपूर –जिले मे चांदपुर बैरियर पर ओवरलोडिंग के नाम पर दलाली प्रथा जोरों पर है कई बार इन दलालों द्वारा जांच के नाम पर वाहन चालकों से अवैध उगाही की जाती है । कुछ ऐसा ही अलिराजपूर जिले के चांदपुर बैरियर पर सुनने को मिल रहा है जहां पर दलाल राजेश द्वारा ट्रक चालकों से ओवरलोडिंग के लिए चालानी कारवाई न करने और एंट्री के नाम पर अवैध उगाही की जा रही है और अब तो राशि दिन पर दिन बढ़ती जा रही है और राजेश दलाल रोजाना हजारों / लाखों के वारे न्यारे कर अपनी जेबें गर्म कर रहा है और शासन को लाखों का चूना लगा रहा है ।

अलिराजपूर से 15 किलोमीटर दूर चांदपुर में आरटीओ विभाग का बेरियर हैं । इस बैरियर से होकर अलिराजपूर जिले के विभिन्न गांवों से वाहनों का छोटा उदयपुर गुजरात की ओर आवागमन होता है । लेकिन इस बेरियर से होकर गुजरने वाले विभिन्न ओवरलोड वाहनों को दलाल से संपर्क करने के बाद ही अनुमति प्राप्त होती हैं । चूंकि चांदपूर बैरियर पर किसी भी तरह का कोई तोल कांटा या अन्य ऑनलाइन चेकिंग की सुविधा नहीं होने से , यह राजेश दलाल सक्रियता से उगाई करता है । इस क्षेत्र मे ओवरलोड और कागजी कमी पेशी होने पर वाहन चालको को इस दलाल को इंट्री देना होती है । यदि कुछ वाहन चालकों के पास सामग्री का बिल नहीं है तो यह दलाल राजेश जीएसटी या अन्य टैक्स के नाम पर हजारों / लाखों की अवैध उगाही करता है और अपनी जेबें गर्म कर रहा है । जबकि नियम अनुसार यदि वाहन चालक के पास सामग्री का बिल नहीं है तो नियमानुसार टैक्स भरवाया जाना चाहिए और पेनल्टी लगाई जाना चाहिए । जिससे शासन को राजस्व को प्राप्त हो । लेकिन यह दलाल निजी राजस्व प्राप्ति में लगा है । यदि किसी वाहन चालक के पास सामग्री का बिल तो है लेकिन यदि वाहन ओवरलोड है या क्षमता से अधिक माल भरा हुआ है । तो इस दलाल द्वारा नियम कायदों की एक लंबी लिस्ट बताई जाती है और उसके बाद वाहन चालक को इस बेरियर से निकलने के लिए एक निश्चित राशि देना होती है राशि नहीं देने पर वाहन घंटो या दिनों तक इस बैरियर पर खड़ा रहता है । इसके अलावा यदि कोई वाहन अन्य प्रदेश से आ रहा हूं तथा उक्त वाहन चालक के पास सामग्री का बिल नहीं है और वाहन ओवरलोड है तो तो इस दलाल के लिए मानो सोने पर सुहागा हो गया ….तब तो यह दलाल राजेश द्वारा उक्त वाहन चालक से मनमानी राशि इंट्री के नाम पर वसूली जाती है । अन्यथा वाहन को शासकीय नियम अनुसार कार्रवाई के बहाने राजसात करने की बात भी कही जाती है । प्रश्न यह है कि आखिर यह दलाल राजेश को किस का संरक्षण प्राप्त है या फिर यह दलाल राजेश किस आधार पर वाहन चालकों से अवैध उगाई इंट्री के नाम पर कर रहा है । क्या शासन-प्रशासन और परिवहन विभाग इस ओर ध्यान देकर राजेश दलाल को लेकर कोई कार्यवाही करेगा …या फिर यह राजेश दलाल यू ही मनमानी कर एंट्री के नाम पर अवैध उगाही करता रहेगा…..?

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