बाजारों मे आभूषण, बर्तनों, कपडों, श्रृंगार सामग्रीयों और आॅटो शो-रूम पर रहीं अधिक भीड़ 23 अक्टूबर को रूप चैदस एवं 24 अक्टूबर को दीपोत्सव पर्व मनाया जाएगा
दौलत गोलानी झाबुआ। 22 अक्टूबर, शनिवार से पांच दिवसीय दीपावली पर्व की शुरूआत हो गई है। प्रथम दिन धनतेरस पर आज शहर के बाजार दिनभर गुलजार रहे। बाजारों में विशेषकर आभूषण, कपड़ों, बर्तनों, श्रृंगार सामग्रीयों के साथ आॅटो शो-रूम पर अधिक भीड़ रहीं। मुख्य बाजारों मंे पुलिस एवं प्रषासन की ओर से भी सुरक्षा के विषेष इंतजाम देखने को मिले। 23 अक्टूबर, रविवार को रूप चैदस पर्व मनाया जाएगा एवं 24 अक्टूबर, सोमवार को देश के सबसे बड़े त्यौहार दीपावली की खुषियां मनाई जाएगी। इस बार 25 अक्टूबर, मंगलवार को सूर्य ग्रहण होने से गाय-गौहरी पर्व को लेकर असमंजस है। 26 अक्टूबर, बुधवार को भाई-दूज पर्व मनाया जाएगा। शनिवार को धनतेरस पर्व होने से सुबह से लेकर रात तक बाजारों मंे खरीददारी का दौर चला। बाजारों में शहर सहित ग्रामीण क्षेत्र के लोगों की अत्यधिक भीड़ देखने को मिली। दो वर्ष बाद इस बार कोरोना मुक्त दीपावली होने एवं मप्र शासन द्वारा सरकारी अधिकारी-कर्मचारियों के डीए तथां अन्य स्वत्वों में वृद्धि और अक्टूबर माह का वेतन दीपावली पर्व से पूर्व जारी करने के वित्त विभाग के आदेष के चलते अधिकारी-कर्मचारी तथा आउटसोर्स अर्थात अस्थायी कर्मचारी भी इस बार दीपावली पर्व पूरे उत्साह और उल्लास के साथ मना सकेंगे। धनतेरस पर लोगों ने बाजार से विजयी मुर्हुत में जहां शो-रूम से दो एवं चार पहिया वाहन क्रय किए वहीं ग्रामीण एवं किसानों ने ट्रेक्टर भी खरीदे। आभूषणों की दुकानों पर माता लक्ष्मीजी, मां सरस्वतीजी एवं गणेषजी की चांदी की प्रतिमा के साथ चांदी के सिक्कों का भी जमकर उठाव हुआ। लोगों ने त्यौहार को लेकर गारमेंटस शाॅप से रेडिमेड कपड़े खरीदे, बर्तनों की दुकानों से स्टील के कलष, मटके, कोठी, ओवन, गैस आदि अधिक बिके। बाजारों में लोगांे में खरीदी को लेकर उत्साह चरम पर रहा। पटाखों, दीपों, रंगों और फूंदों आदि की भी खरीदी इसके अलावा पांच दिवसीय दीपोत्सव पर्व मनाने हेतु लोगो द्वारा शहर के बाडकुआं में लगी 30 से अधिक पटाखों की दुकानों पर पहुंचकर यहां पटाखांे की खरीदी की जा रहीं है। पटाखों के भाव में इस बार तेजी आई है। यहां स्थानीय प्रषासन की ओर से फायर ब्रिगेड, पानी के टेंकर, प्लास्टिक बाथरूम की व्यवस्था की गई है। प्रत्येक पटाखा व्यवसायी द्वारा यहां केषव इंटरनेषनल स्कूल के संचालक ओम शर्मा की निजी जमीन में दुकाने लगाए जाने से एक व्यवसायी द्वारा करीब 3500 रू. के हिसाब से नगरपालिका द्वारा संचालित होने वाले दिनदयाल अंत्योदय रसोई केंद्र हेतु यह राषि नगरपालिका में जमा करवाई गई है। यहां पटाखों की दुकाने 24 अक्टूबर, दीपावली की मध्य रात तक लगी रहेगी। गाय-गौहरी में शामिल होने वाली गौ-माताओं का स्वास्थ्य परीक्षण एवं टीकाकारण आवष्यक इसके अलावा बाजारों मंे षिल्पियों द्वारा मिट्टी से निर्मित दीपक, मटकी, कलष, घोड़े आदि भी बेचे जा रहे है, जिनका भी जमकर उठाव हो रहा है। रांगोली के रंग, सजावट सामग्रीयों, गौ-माताओं के सजाने के लिए फूंदे, रंग आदि की भी ग्रामीणजन जमकर खरीदी कर रहे है। इस बार जिला प्रषासन ने गाय-गौहरी पर्व को जिले मंे इन दिनों तेजी से फैल रहीं लंपि वायरस बिमारी से पृथक अर्थात छूट प्रदान की है, लेकिन प्रषासन की ओर से जारी निर्देष में जिले में गाय-गौहरी पर्व में वहीं गौ-माताएं शामिल हो सकेगी, जिनका पूर्व में स्वास्थ्य परीक्षण पशु चिकित्सालय के माध्यम से करवाया जाकर उनका वैक्सीनेषन होना भी अनिवार्य है। श्री गौवर्धननाथ मंदिर में 2 नवंबर को होगी गौवर्धन पूजा एवं अन्नकूट महोत्सव धनतेरस पर एक अनुमान के मुताबिक बाजारों में सभी दुकानों पर मिलाकर करोड़ों का व्यापार हुआ है। रूप चैदस पर माहिलाओं द्वारा ब्यूरी पार्लर पर अपने रूप को निखारा जाएगा, वहीं पुरूष हेयर डेªेसेस पर पहुंचकर सजेंगे और सवेंरगे। दीपावली पर्व पर सुबह से देर रात तक बाजारों में दिनभर भीड़भाड़ के साथ घर-आंगन दीपों, रांगोली ं और वि़द्युत सज्जा से चकाचैंध होंगे। शुभ मुर्हुत में महालक्ष्मीजी, मां सरस्वतीजी एवं प्रथम पूज्य श्री गणेषजी की विशेष पूजन-आरती की जाएगी। पूरी रात आतिष्बाजी का दौर चलेगा। 25 अक्टूबर, मंगलवार को सूर्य ग्रहण होने से कोई खास आयोजन नहंी होंगे। 26 अक्टूबर, बुधवार को भाई-दूज पर बहनों द्वारा भाईयों की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधकर उनका मुंह मीठा करवाय जाएगाा। इस बार श्री गौवर्धननाथजी की हवेली (श्री गौवर्धननाथ मंदिर) में 2 नवंबर, बुधवार को एकसाथ आंवला नवमी, अन्नकूट महोत्सव एवं श्री गौ-वर्धन पूजा आदि का एकसाथ आयोजन होगा।