रतलाम, राज्य स्तरीय मोगली बाल महोत्सव के तहत हुई गतिविधि में रतलाम की टीम ने जिप्सी में सफारी के लिए अन्य 18 जिलों के साथ सुबह 5 बजे चेक पोस्ट के बाद अलिकट्ट जंगल में प्रवेश किया। जंगल सफारी में प्रवेश करते ही वन्य प्राणी चीतल, सांभर, नीलगाय, मोर, लोमड़ी, किंगफिशर बर्ड प्रवासी पक्षी, जीव जंतुओं को देखा।
गाइड सियाराम सिंगे व अजय केवल ने बच्चों को शांत होकर चीतल की कॉल, बंदर की आवाज सुनकर, टाइगर की मौजूदगी को बताया।
जैव विविधता क्विज करवाई
टाइगर के पंजों के निशान , टाइगर द्वारा पेड़ों पर अपने पंजो से बनाए एरिया मार्क भी दिखे।इसके बाद राष्ट्रीय उद्यान के डिप्टी डायरेक्टर रजनीश सिंह ने जैव विविधता क्विज प्रतियोगिता करवाई। जिसमें रतलाम के हरिओम धाकड़ ने पुरस्कार प्राप्त किया। जिले का 6 सदस्यीय दल जिला शिक्षा अधिकारी के सी शर्मा के मार्गदर्शन एवम नोडल अधिकारी कृष्णलाल शर्मा और क्विज मास्टर सीमा अग्निहोत्री के नेतृत्व में राज्य स्तरीय बाल उत्सव में सहभागिता की।
समापन पर अतिथियों ने किया रतलाम दल के विजेता विद्यार्थियों को सम्मानित
इंदिरा प्रियदर्शिनी पेंच राष्ट्रीय उद्यान टूरीया(सिवनी)में आयोजित राज्य स्तरीय मोगली बाल उत्सव 2022 का तीन दिवसीय आयोजन रविवार की शाम संपन्न हुआ। सिवनी कलेक्टर डॉ. राहुलदास फटिंग, एप्को के कार्यपालन यंत्री मनोहर पाटिल, दिलीप चक्रवर्ती, जिला शिक्षा अधिकारी सिवनी जीएस बघेल द्वारा रतलाम कनिष्ठ वर्ग के क्विज विजेता सिद्धार्थ सिंह और दीपिका सिंह को पुरस्कृत किया गया।वरिष्ठ वर्ग के प्रिया राजपुरोहित और हरिओम धाकड़ को जैव विविधता विभाग के डॉ. बकुल लॉड ने पुरस्कृत किया गया।
सभी से किया आह्वान जैव विविधता का करें संरक्षण
समापन सत्र में सांसद ढ़ाल सिंह बिसेन,विधायक द्वय अर्जुन सिंह ककोड़िया व दिनेश रॉय मुनमुन ने शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित मोगली बाल उत्सव में शामिल सभी विद्यार्थी, मार्गदर्शी शिक्षकों से जैव विविधता संरक्षण की अपील की गई।
सांस्कृतिक कार्यक्रम सहित कोई कई प्रतियोगिताएं
रात्रि में सभी विद्यार्थियों ने तारामंडल, मोगली फिल्म, वन विभाग की चुनौतियों पर आधारित फिल्म, सांस्कृतिक कार्यक्रम का आनंद लिया। सहजकर्ताओं द्वारा पत्ती, बीज, मसाले, शर्करा, लवण पहचानो जैसी प्रतियोगिता आयोजित की गई।
पहेली के माध्यम से जाना ट्रेजर का नाम
ट्रेजर हंट गतिविधि में पहेली के माध्यम से ट्रेजर का नाम जानना, फिर उसे झाड़ियों में ढूंढ कर उसकी उपयोगिता को जाना गया। नेचर ट्रेल में विभिन्न परजीवी, सहजीवी पौधे, वृक्ष की खाल से वृक्ष को पहचानना, जंगल की हर छोटे, बड़े जीव जैसे दीमक, चिटी का पारिस्थितिक तंत्र में उपयोगिता को समझाया गया।
उत्सव में सहभागिता करने वाले बनेंगे पर्यावरण दूत
इस उत्सव में सहभागिता करने वाले विद्यार्थी पर्यावरण संरक्षण का महत्व समझेंगे और अपने जिले के लिए पर्यावरण दूत साबित होंगे। कार्यक्रम का संचालन शिक्षक मिश्रा ने किया।