RATLAM

थाई अमरुद की खेती कर भरत खदेडा हुए आत्मनिर्भरता की ओर अग्रसर

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थाई अमरुद की खेती कर भरत खदेडा हुए आत्मनिर्भरता की ओर अग्रसर

रतलाम उद्यानिकी क्षेत्र में नए-नए प्रयोग करने तथा नई फसलें लेने में रतलामा जिले के किसान अग्रगामी हैं। जिले में थाई अमरुदअंगूरस्ट्रॉबेरीपपीताएप्पल बेर के साथ-साथ अब ड्रैगन फ्रूट की खेती भी की जाती है। जिले की ग्राम पंचायत तीतरी के युवा किसान श्री भरत खदेडा भी उद्यानिकी फसलों की ओर आकर्षित हुएउन्होंने परिश्रम एवं लगन के साथ थाई अमरुद की खेती की है। थाई अमरुद ने किसान भरत को समृद्धि तथा आत्मनिर्भरता की ओर अग्रसर कर दिया है।

भरत बताते हैं कि वर्ष 2019-20 में महात्मा गांधी नरेगा योजना अन्तर्गत 2 लाख 20 हजार रुपए का ऋण प्राप्त कर अपनी साढे पांच बीघा जमीन में थाई अमरुद के 450 पौधे लगाए। पहले ही वर्ष उनको एक लाख रुपए की आमदनी प्राप्त हुई। प्रथम वर्ष में हुई आय से भरत ने एक मोटर सायकल खरीद ली। उन्होने थाई अमरुद बागवानी में गांव के पांच जाब कार्डधारक परिवारों को भी रोजगार उपलब्ध कराया है। इस वर्ष भी उनके खेत में लगे प्रत्येक पौधे में 80 से 90 फल आए हैं जिससे उन्हें अच्छी आमदनी होने की संभावना है। भरत सभी किसानों से आग्रह भी करते हैं कि परम्परागत खेती के साथ-साथ उद्यानिकी फसलों को भी उत्साह के साथ अपनाएं। उद्यानिकी फसलें किसान को मालामाल करती हैं। अपने गांव तथा जिले में किसानों को कृषि तथा उद्यानिकी विभाग की उत्कृष्ट योजनाओं के क्रियान्वयन तथा कृषकों को प्रेरणा एवं सहयोग देने के लिए भरत मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान को हृदय से धन्यवाद देते हैं।

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