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आइडियाज चयन में रतलाम जिला संभाग में अव्वल और प्रदेश में द्वितीय स्थान पर

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आइडियाज चयन में रतलाम जिला संभाग में अव्वल और प्रदेश में द्वितीय स्थान पर

रतलाम / इंस्पायर अवार्ड मानक योजना अंतर्गत सत्र 2022-23 में रतलाम जिले के 117 बाल वैज्ञानिकों का चयन हुआ है। उल्लेखनीय है कि इंस्पायर अवार्ड मानक योजना के वर्तमान सत्र में ऑनलाइन आइडिया अपलोड कराने के तहत रतलाम जिले के 1080 स्कूलों द्वारा 5028 आइडिया अपलोड कराकर प्रदेश में द्वितीय स्थान प्राप्त किया था। राष्ट्रीय स्तर पर चयन समिति द्वारा रतलाम जिले के 117 बाल वैज्ञानिकों का चयन जिला स्तरीय विज्ञान प्रदर्शनी के लिए किया गया है । रतलाम जिले ने प्रदेश में चयन संख्या मान से दूसरा स्थान एवम् संभाग में प्रथम स्थान प्राप्त किया।

इंस्पायर जिला नोडल अधिकारी जिला शिक्षा अधिकारी श्री के.सी. शर्मा, सहायक नोडल अधिकारी एडीपीसी श्री अशोक लोढ़ा, सहायक संचालक श्री एल.एस. देवड़ा, जिला विज्ञान अधिकारी श्री जितेंद्र जोशी, सहायक जिला विज्ञान अधिकारी श्री स्वतंत्र श्रोत्रिय ने चयनित छात्रों और मार्गदर्शी शिक्षकों को चयनित होने पर शुभकामनाएं दी। इंस्पायर अवार्ड योजना में के प्रत्येक छात्र को आइडिया के प्रोटोटाइप (प्रादर्श) बनाने के लिए उनके खाते में 10-10 हजार रूपए जमा कराए जाते हैं, जिनका उपयोग बाल वैज्ञानिकों द्वारा मार्गदर्शी शिक्षक के साथ नवाचारी आइडिया पर आधारित प्रोटोटाइप निर्माण कर जिला स्तरीय प्रदर्शनी में करते हैं ।

रतलाम जिले के सभी ब्लॉक के विकासखंड शिक्षा अधिकारी, बीआरसी, जनशिक्षक, ब्लॉक विज्ञान अधिकारी, संकुल विज्ञान अधिकारी एवं विज्ञान शिक्षकों द्वारा निरंतर प्रयास कर जिले को प्रदेश स्तर पर पहचान दिलाने में महती भूमिका निभाई गई। ब्लॉकवार चयनित छात्रों की सूची  अनुसार आलोट ब्लॉक से 17, बाजना ब्लॉक से 7, जावरा ब्लॉक से 25, पिपलोदा ब्लॉक से 9, रतलाम ब्लॉक से 50 और सैलाना ब्लॉक से 9 बाल वैज्ञानिकों का चयन किया हुआ है। ग्रामीण क्षेत्र में नवीन वैज्ञानिक विचार के बढ़ते प्रभाव का परिणाम है कि सरस्वती शिशु मंदिर हाई स्कूल कलालिया के एक साथ 4 बच्चों का चयन इस सूची में किया गया है।

क्या है इंस्पायर अवार्ड – मानक इनोवेशन इन साइंस परसूट फॉर इंस्पायर्ड रिसर्च (इंस्पायर) विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग डीएसटी व भारत सरकार के प्रमुख कार्यक्रमों में से एक है । इसका उद्देश्य कक्षा 6 से 10 तक अध्ययनरत विद्यार्थियों में वैज्ञानिक सोच और रचनात्मकता को बढ़ावा देना है।

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