दिल्ली पहुंचकर राष्ट्रपति और पीएम से मिलेंगे:गैंगरेप के आरोप में जेल में रहे कांतू ने शुरू की पुरुष उत्पीड़न विरोधी यात्रा
रतलाम~~बेगुनाह होने के बावजूद गैंगरेप के आरोप में करीब दो साल जेल में रहने वाले घोड़ाखेड़ा के कांतू पिता नरसिंह अमलियार (30) ने शनिवार को रतलाम से पुरुष उत्पीड़न विरोधी यात्रा शुरू की। इसमें उसकी मां, पत्नी, बच्चे और ग्रामीण भी शामिल हैं। यात्रा 30 जनवरी को दिल्ली पहुंचेगी। वहां कांतू राष्ट्रपति, सुप्रीम कोर्ट के न्यायमूर्ति, प्रधानमंत्री, गृह मंत्री, कांग्रेस नेता सोनिया गांधी से मिलकर पुरुषों के पक्ष में कानून बनाने से लेकर पुरुष आयोग बनाने की मांग करेंगे।
शनिवार दोपहर 2 बजे कोर्ट चौराहा स्थित डॉ. आंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण करने के साथ कांतू अमलियार ने यात्रा शुरू की। कांतू ने बताया कि बेगुनाह होने के बावजूद दो साल की सजा ने मेरी जिंदगी बर्बाद कर दी। इसलिए उत्पीड़न का शिकार हो रहे पुरुषों को बचाने के लिए मैं यह यात्रा निकाल रहा हूं। दिल्ली पहुंचकर जिम्मेदारों को ज्ञापन देकर मांग करूंगा कि पीड़ित महिलाओं को मिले कानूनी अधिकार की तरह पुरुषों को भी अधिकार दिए जाएं ताकि महिलाओं द्वारा पुरुषों को प्रताड़ित करने पर रोक लगे।
मेरा उद्देश्य महिलाओं के खिलाफ हो रहे अपराध को कमतर आंकने की बजाय महिलाओं के लिए बनाए गए कानूनों के दुरुपयोग के बारे में बताना है। यात्रा में कांतू की मां मीराबाई, पत्नी लीला, बेटी पपीता (7), लक्ष्मण (4), शांति (2), सूरज (1) और बहन कुसुम शामिल है। यात्रा की व्यवस्था जय कुलदेवी फाउंडेशन संभाल रहा है। फाउंडेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष अभिभाषक विजयसिंह यादव ने बताया यात्रा वाहन से निकलेगी और जहां जरूरत होगी वहां पैदल भी चलेगी। रास्ते में सभाएं लेकर लोगों को जागरूक करेंगे।
10 हजार करोड़ का क्षतिपूर्ति दावा लगाया
गैंगरेप के झूठे आरोप का शिकार कांतू राज्य शासन व तीन पुलिस अफसरों के साथ ही गवाह के खिलाफ 10 हजार 6 करोड़ 2 लाख रुपए की क्षतिपूर्ति का दावा रतलाम कोर्ट में लगा चुका है। इस प्रकरण में अगली तारीख 15 फरवरी लगी है।