झाबुआ

थांदला थाने में नाबालिग की गुमशुदगी की रिपोर्ट के बाद, पुलिस कारवाई के अभाव में अपहरण व हत्या की आशंका…

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झाबुआ /थांदला – जिले में पुलिस की लचीली कार्यप्रणाली कहे या फिर अपराधियों के बढ़ते हौसले , अपराधी प्रवृत्ति के लोग आज भी पुलिस कारवाई को लेकर कोई डर नजर नहीं आ रहा है और घटना को अंजाम दे रहे है । ऐसा ही जिले के थाना थादला अंतर्गत ग्राम छोटागुढा के रहवासी ने अपनी नाबालिग पुत्री के गुमशुदगी रिपोर्ट के बाद नहीं मिलने पर, अपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्ति पर आशंका जताने के बाद भी पुलिस कारवाई के अभाव में, पुत्री के अपहरण व उसकी हत्या की आशंका को लेकर ,अध्यक्ष बाल कल्याण आयोग, नई दिल्ली व वन स्टॉप सेंटर झाबुआ को आवेदन देकर कारवाई की मांग की है ।

जानकारी अनुसार जिले के थांदला थाना अंतर्गत ग्राम छोटा गुढा के निवासी सुनीता पति कानजी डामोर ने वन स्टॉप सेंटर झाबुआ व अध्यक्ष बाल कल्याण आयोग नई दिल्ली को पत्र के माध्यम से आवेदन प्रस्तुत कर, अपनी नाबालिग पुत्री की गुमशुदगी की रिपोर्ट के बाद भी पुलिस द्वारा कोई त्वरित कारवाई न करने पर आवेदन प्रस्तुत देकर कारवाई की मांग की है । आवेदन में सुनीता पिता कानजी डामोर ने बताया कि मेरी नाबालिग पुत्री 19 मार्च को घर से गायब हुई थी जिसकी प्रथम सूचना रिपोर्ट पुलिस थाना थांदला पर 26 मार्च को दर्ज करवाई गई थी । नाबालिक के माता-पिता को आशंका है कि उनकी अवयस्क पुत्री को दीवान पिता हवसिंह निवासी छोटा गुढा बहला-फुसलाकर ले गया है । वही आवेदन ने यह भी बताया कि मेरी पुत्री तथा अभियुक्त दीवान का मोबाइल नंबर भी सक्रिय है । फिर भी पुलिस द्वारा अब तक उन्हें नहीं पकड़ा जा सका है । आवेदन में उन्होंने नाबालिक पुत्री के तथा अभियुक्त दीवान के मोबाइल नंबर भी दर्शाए हैं । नाबालिक के माता-पिता का यह भी कहना है कि पुत्री को अपरहण हुए काफी दिन हो चुके हैं तथा उन्हें आशंका है कि कहीं उनकी पुत्री का अपहरण कर उसकी हत्या न कर दी हो । वहीं उन्होंने पुलिस पर इस मामले में सक्रियता से काम न करने का भी आरोप लगाया है । तथा उनका यह भी कहना है कि दीवान अपराधिक प्रवृत्ति का व्यक्ति है तथा पूर्व में उसके विरुद्ध भी कई अपहरण के मामले दर्ज हो चुके हैं । लेकिन पुलिस फिर भी कार्रवाई नहीं कर रही है आवेदन के माध्यम से सुनीता पति कानजी डामोर ने तत्काल कार्रवाई कर पुत्री को ढूंढने के लिए व अभियुक्त के कब्जे से मुक्त कराने हेतु आवेदन दिया है । देखना यह दिलचस्प होगा कि क्या जिला पुलिस इस तरह के गुमशुदगी के मामले को लेकर तथा प्रार्थी द्वारा आशंका जताई गए व्यक्ति को लेकर क्या कदम उठाए जाते हैं यह तो आने वाले दिनों में पता लगेगा…..?

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