झाबुआ

कलेक्टर ने विकासखण्ड पेटलावद के कृषको से चर्चा कर जैविक खेती के लिए प्रोत्साहित किया

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सुश्री तन्वी हुड्डा द्वारा विकासखण्ड पेटलावद के विभिन्न ग्रामो का निरीक्षण किया गया। ग्राम उन्नई में कृषक देवेंद्र मेडा ने बताया कि उन्होंने पहली बार ड्रीप पद्धति से 10 बीघा ज़मीन पर कपास की फसल लगाई हैं । जिससे लगभग 70 क्विंटल का उत्पादन हो जाता है, इन्होंने बीटी कॉटन लगाया है, जिसमे कम कीड़े लगने की सम्भावना होती है। इस कपास को देवेन्द्र पेटलावद में बेचेंगे। इसके बाद वे जनवरी में तरबूज की फसल लगाएंगे। देवेन्द्र के बालक ने एग्रीकल्चर की डिग्री कंप्लीट की हैं, जिससे उन्हें कृषि में और सहायता मिलेगी। ग्राम मैकलिया कृषक पुनिया पाल द्वारा बताया गया कि कृषक एवं उनकी पत्नी के द्वारा मिलकर हल्दी, भिंडी, बैगन, भिंडड़ी मक्का, कटहल, सोयाबीन एवं कपास की फसल लगाई हैं। इन फसलो में भिंडी कि 50 हजार से 70 हजार तक की बिक्री हो जाती हैं। वे रसायन का उपयोग न करते हुए जैविक पद्धति के माध्यम से खेती करते हैं। वे अपने खेत में लगाई गई हल्दी एवं अन्य सब्जियो का उपयोग घर में भी करते हैं। उनके पास 4 देशी गाय एवं कुछ बकरा-बकरी है। कृषक के 2 बच्चे हैं वे भी स्कूल जाते हैं। ग्राम कृषक अनिल वसुनिया द्वारा बताया गया कि, उन्होंने किसान कल्याण तथा कृषि विकास विभाग के सहयोग से हल्दी की फसल लगाई है। इसी के साथ वे कपास एवं सोयाबीन की खेती भी करते है। कलेक्टर द्वारा कपिलधारा के बारे में पूछे जाने पर कृषक ने बताया की वे पानी के लिए कुए का उपयोग करते हैं, जिससे फसलो को पर्याप्त मात्रा में पानी मिल जाता है। इसी के साथ सुश्री हुड्डा ने सभी कृषको को जैविक खेती करने के लिए प्रोत्साहित किया।

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