झाबुआ । शिवराजसिंह सरकार सरकार ने बुधवार को विधानसभा में 2022-23 का कुल 2 लाख 79 हजार 237 करोड़ का बजट पेश किया। बजट में कोई भी नया कर नहीं लगाया है और मौजूदा करों में भी कोई दर नहीं बढ़ाई गई है। सांसद गुमानसिंह डामोर एवं प्रदेश भाजपा कार्यसमिति के सदस्य एवं पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष ओमप्रकाश शर्मा ने संयुक्त प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि विधानसभा में वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने साल 2022-23 का बजट पेश किया है वह प्रदेश के लिये कल्याणकारी एवं विकासोन्मुखी है। वित्तमंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश में 13,000 शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी, प्रदेश में 11 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित किए जाएंगे। इससे 11 हजार से अधिक रोजगार के अवसर विकसित होंगे। मध्य प्रदेश में इस बार कोई नया टैक्स नहीं लगाया गया। कुल 2 लाख 79 हजार 237 करोड़ का बजट है। श्री डामोर ने कहा कि यह बजट आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश का संकल्प है इस बजट में सरकार पूरी तरह अन्नदाताओं के साथ है। राज्य में सिंचाई क्षमता 43 लाख हेक्टेयर तक पहुंच गई है। 48 लाख हेक्टेयर में सिंचाई व्यवस्था। 21 हजार करोड़ रुपये की बिजली सब्सिडी दी गई। 2500 करोड़ बिजली सब्सिडी देने का प्रावधान। इस साल 4000 किमी सड़क बनाने का लक्ष्य है। अटल प्रगति पथ का काम शुरू हो गया है। श्री शर्मा ने बताया कि वित्त मंत्री के अनुसार मध्य क्षेत्र के सकल घरेलू उत्पाद में वर्ष 2011-12 से 2021-22 की अवधि में वृद्धि 7.09 प्रतिशत तक बढ़ जाएगी। राज्य में 48 लाख हेक्टेयर में सिंचाई की व्यवस्था की गई। अब 4 हजार किमी सड़क बनाने का लक्ष्य है। प्रदेश में राजस्व घाटा 18356.22 करोड़ रुपये रहा। घर-घर तक पानी पहुंचाया जाना सरकार की प्राथमिकता है। जल जीवन मिशन से गा्रम गा्रम तक शुद्ध जल पहूंचाना है । ग्रामीण अंचलों में विकास की रफ्तार बढ़ी है। मध्य प्रदेश की फसलों को जीआइ टैग दिलाने का प्रयास लगातार हो रहा है। गोसंवर्धन को लेकर भी मध्य प्रदेश में नई योजनाए शुरू करेगी । वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने मध्य प्रदेश के आम बजट में सभी वर्गाे का पूरा ध्यान रखा है । श्री डामोर के अनुसार बजट के अनुसार 2020-21 में संक्रमण 49869.29 करोड़, 2021-22 में लागत घाटा 5701.14 करोड़ है। वर्ष 2021-22 में प्राप्तियों का संशोधित अनुमान 171697.24 करोड़ है जो बजट अनुमान 164677.45 करोड़ से 4.26 प्रतिशत अधिक है। मध्य प्रदेश सीएएम राइज योजना के तहत 360 स्कूल खोलने का लक्ष्य है । बजट के साथ ही मध्यप्रदेश के पर्यटन स्थलों पर रोजगार के नए अवसर शुरू होंगे। मध्य प्रदेश में 31 लाख लाभार्थियों को प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ दिया जाएगा, जिसके लिए 10 हजार करोड़ का प्रावधान किया गया है। राज्य के खिलाड़ियों की बेहतरी के लिए सरकार लगातार प्रयास कर रही है। राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर 12,000 खिलाड़ियों के भाग लेने की उम्मीद है। प्रदेश में नई हवाई पट्टियों का निर्माण कार्य जारी है। युवाओं को रोजगार ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। मध्य प्रदेश में मछली उत्पादन में वृद्धि हुई है। यह 3776 करोड़ रुपये का घाटे का बजट है। उन्होने बताया कि वित्त मंत्री के अनुसार मध्य प्रदेश सरकार सरकारी बुनियादी ढांचे पर 48,800 करोड़ रुपये खर्च करेगी। सरकारी प्राथमिक विद्यालयों की स्थापना के लिए 10345 रुपये का प्रावधान है। प्रदेश में तीन हजार किमी नई सड़कें बनेंगी। एक हजार 250 किलोमीटर सड़क का होगा नवीनीकरण 88 पुलों और पुलियों का निर्माण किया जाएगा। सरकारी भवनों के निर्माण के लिए नई कंपनी भवन विकास निगम का गठन किया जाएगा। निर्माण कार्यों की गुणवत्ता के लिए गुणवत्ता आश्वासन परिषद की स्थापना। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के लिए 2000 करोड़ रुपये, निवेश प्रोत्साहन योजना के लिए 1450 करोड़ रुपये का प्रावधान है। आंगनबाडी सेवा एवं पोषण मिशन के लिए 1192 करोड़ रुपये का प्रावधान है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत एक हजार 200 किलोमीटर सड़क बनाने का लक्ष्य रखा गया है। शहरी सड़कों के लिए बजट में 608 करोड़ रुपये का प्रावधान है। सांसद गुमानसिंह डामोर ने कहा कि बजट में ऐलान किया गया है कि राज्य के सभी कर्मचारियों, जो महंगाई भत्ता पाते हैं, उनके महंगाई भत्ता को 20 फीसद से बढ़ाकर 31 फीसद कर दिया गया है यानी कुल बढ़ोतरी 11 फीसद की कर दी गई है। वहीं एमबीबीएस और नर्सिंग के छात्रों के लिए भी राहत दी गई है, इनके सीटों में भी बढ़ोतरी की जाएगी। प्रदेश में 13 हजार टीचर्स की नियुक्ति की जाएगी, सागर और उज्जैन में सोलर प्लांट लगाए जाएंगे। उद्योगों को रियायती दरां पर रियायत पर जमीन दी जाएगी। राज्य में 11 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित किए जाएंगे। इससे 11 हजार से ज्यादा रोजगार के अवसर विकसित होंगे। मध्य प्रदेश में इस बार कोई नया कर नहीं लगाया गया। 2 लाख 79 हजार 237 करोड़ का कुल बजट है। बजट में इस बार चाइल्ड बजट भी पेश किया गया। बजट में महंगाई भत्ता 20 प्रतिशत से बढ़ाकर 31 प्रतिशत किया गया है, इसका लाभ राज्य के साढ़े सात लाख कर्मचारियों को मिलेगा। आदिवासी अंचलों के विकास के लिये भी बजट मे काफी प्रावधान किये गये है । इस तरह बजट में सभी तरह के कल्याण की भावना निहीत है । प्रदेश में 22 नये मेडीकल कालेज खोले जावेगें तथा 3250 एमबीबीएस की सीटें होगी । जनजाति विकास निगम का गठन किया जायेगा इसके माध्यम से रोजगार की व्यवस्था होगी। गायों की सेवा के लिये नई योजना बनाई जायेगी । 11 नयें औद्योगिक केंद्र विकसित कियें जायेंगे ।इस साल बिजली सब्सिडी के लिए 2500 करोड़ का प्रावधान रखा है वही बिजली के लिए 2500 करोड़ का प्रावधान । अनुसूचित जनजाति के लिये 8 करोड़ की योजना । मत्स्य उत्पादन बढ़ाने के लिए 50 करोड़ प्रस्तावित किये गये है। वन समितियों को आय का 20 प्रतिशत दिया जायेगा। किसानों के लिए 1 लाख 72 की राहत राशि । कोई नया कर नहीं लगाया गया है। स्वास्थ्य के लिए 13642 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है वही उच्च शिक्षा के लिए 12करोड़ 47 लाख का प्रावाधान होगा तो सड़क निर्माण के लिए 108 करोड़ का प्रावधान किया गया है । इस प्रकार यह बजट प्रदेश को आत्म निर्भर बनाने के साथ ही विकासोन्मुखी बजट इस बजट से रतलाम झाबुआ लोकसभा अंचल के लिये बेहद विकास की संभावनायें है। हम इस बजट का स्वागत करते है ।