जरा संभलकर उपयोग करे पानी, गर्मी में हो सकता है यह बड़ा संकट
तल में पहुंचा धोलावाड़ डेम का पानी, दो जगह से लिफ्ट करना पड़ रहा है पानी
रतलाम. शहर की तीन लाख जनता का गला तर करने वाले धोलावाड़ जलाशय का गला सूखने लगा है। धोलावाड़ डेम में अब महज साढ़े तीन मीटर पानी बचा है। यह पानी खींचतान करके महज एक से डेढ़ माह तक चलाया जा सकता है। वर्तमान में तीन फीट गहरी और पांच फीट चौड़ी नाली के जरिये शहर की प्यास बुझाई जा रही है। इस नाली से पानी 30 मई के पहले नीचे पहुंच सकता है। ऐसे में जून माह में शहर के सामने पेयजल का बड़ा संकट खड़ा हो सकता है। हालांकि निगम के जिम्मेदारों का कहना है कि इसके बाद वैकल्पिक व्यवस्था के रूप में डेम में मड पंप उतारकर और दूर से पानी खींचकर नाली के पास बने गड्ढे में डालकर पंप के जरिये रतलाम तक पहुंचाया जाएगा। इसलिए शहरवासियों को घबराने की जरुरत नहीं है।
ऐसे ला रहे हैं पानी
धोलावाड़ डेम में वर्षों पहले इंटेकवेल बनाया गया था। यह काफी ऊंचाई पर बनने से गर्मी में इससे पानी का लेवल काफी दूर जाने से केनाल खोदकर पानी लाया गया। हर साल यह प्रक्रिया करनी पड़ती थी। पिछले सालों में इससे आधा-पौन किमी दूर एक और जेकवेल बनाया जहां से इंटेकवेल तक पाइप के जरिये पानी पहुंचाया जाता है। इस समय नए जेकवेल में पानी की पूर्ति तालाब के टीलों के बीच तीन फीट गहरी नाली खोदकर पानी का रास्ता बनाकर जा रही है।
यह है वैकल्पिक व्यवस्था
नए जेकवेल तक आ रहा पानी नाली के लेवल से नीचे जाता है तो फिर से काफी दूर तालाब में मड पंप लगाकर पानी खींचकर यहां तक लाना पड़ेगा और यहां से पुराने जेकवेल तक पहुंचाना पड़ेगा। इन सब प्रक्रिया के बीच कई सारे पंप लगेंगे और नगर निगम को भारी भरकम बिजली का भुगतान करना पड़ेगा।
डेम में 36 फीट नीचे पहुंच गया पानी
धोलावाड़ डेम की क्षमता का 90 फीसदी पानी उपयोग में आ चुका है। डेम की ऊंचाई 395 मीटर है जबकि इस समय पानी का लेवल 383.80 पर पहुंच गया है। कहा जा सकता है कि 12.20 मीटर पानी नीचे आने से करीब 36 फीट पानी नीचे चला गया। यह पानी सिंचाई और पेयजल दोनों के लिए उपयोग हुआ है।
तल में कम क्षेत्रफल
तालाब या डेम में जितनी ऊंचाई पर पानी रहता है उसका फैलाई वाला क्षेत्रफल भी काफी ज्यादा होने से पानी भी ज्यादा रहता है। जैसे-जैसे तल में पानी सिमटता जाता है उसका क्षेत्रफल तो सिमटता ही है पानी की मात्रा भी बहुत कम होती जाती है। साढ़े तीन मीटर पानी बचा है वह डेम की क्षमता का 15 फीसदी ही है।
आठ से तीन किमी पर सिमटा
धोलावाड़ गांव से डेम करीब आठ किमी दूर है। डेम लबालब होने पर इस गांव की सिरे तक पानी आ जाता है। इस समय डेम में पानी महज ढाई से तीन किमी दूरी में सिमट गया है। डेम से नहर को पानी देने वाले हिस्से में भी तल तक पानी पहुंच गया। यह पानी पुरानी पाइप लाइन के जरिये
रतलाम पहुंचाया जा रहा।
चार एमसीएम पानी डेड स्टोरेज में
धोलावाड़ डेम की ऊंचाई 380 से लेकर 295 यानि 15 मीटर की है। इसमें 50 मिलीयन घन मीटर (एमसीएम) पानी संग्रहित होता है। इसके अलावा डेम में डेड स्टोरेज भी होता है जिसमें 4.35 एमसीएम पानी रहता है। 280 के सबसे नीचे के लेवल से नीचे पानी पहुंचने पर नहर में पानी जाना बंद हो जाता है।
फैक्ट फाइल
धोलावाड़ की क्षमता – 54.30 एमसीएम पानी
ऊंचाई – 15 मीटर
अपर लेवल – 395 मीटर
लो लेवल – 380 मीटर
वर्तमान लेवल – 383.85
वर्तमान में शेष बचा पानी – 9.94 एमसीएम
निगम हर दिन लेता है पानी – 32 एमएलडी
एक एमएलडी में होता है – 10 लाख लीटर पानी
वैकल्पिक व्यवस्था की तैयारी
जेकवेल से अभी पर्याप्त मात्रा में पानी मिल रहा है। कुछ दिन बाद स्थिति देखी जाएगी और यदि जरुरत लगी तो फिर मड पंप उतारकर आगे से पानी जेकवेल में डालकर पूर्ति की जाएगी। हम स्थिति पर नजर रखे हुए हैं।
सुरेशचंद्र व्यास, कार्यपालन यंत्री, नगर निगम जल प्रदाय विभाग( सौजन्य से दैनिक पत्रिका)